रीठा (Reetha or Ritha) एक बहुत ही फायदेमंद जड़ी-बूटी है। महिलाएं अधिकांशतः रीठा का इस्तेमाल करती हैं, क्योंकि बालों से संबंधित समस्याएं जैसे- बालों को झड़ने से रोकने और बालों को बढ़ाने आदि में रीठा के फायदे मिलते हैं। बालों को धोने के लिए भी रीठा के फलों का उपयोग किया जाता है। रीठे के फलों को पानी में भिगोने के बाद जो झाग निकलता है, उसे शरीर में लगाने से शरीर की जलन ठीक होती है। इसके अलावा भी रीठा के फायदे (Reetha ke fayde) और भी हैं।
आयुर्वेद में रीठा को बहुत ही गुणकारी जड़ी-बूटी बताया गया है। अगर आप रीठा (soapnut) के इस्तेमाल से होने वाले फायदे (Reetha ke fayde) के बारे में नहीं जानते हैं तो आइए जानते हैं।
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रीठा एक जड़ी-बूटी है। रीठा की मुख्यतः दो प्रजाति पाई जाती हैं, जो ये हैंः-
रीठा का वानस्पतिक नाम सेपिन्डस सपोनेरिया (Sapindus saponaria Linn., Syn-Sapindus mukorossi Gaertn., Sapindus abruptus Lour. है, और यह सेपिंडेसी (Sapindaceae) कुल का है। रीठा के अनेक नाम ये हैंः-
आयुर्वेद के अनुसार, आप रीठा के औषधीय गुण से अनेक फायदे (Reetha ke fayde) ले सकते हैं, जो ये हैंः-
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दांतों के रोग के इलाज के लिए रीठा के बीजों को तवे पर जलाकर पीस लें। इसमें बराबर मात्रा में पिसी हुई फिटकरी मिला लें। इस चूर्ण (reetha powder)दांतों पर मलने से दांतों के सब प्रकार के रोग दूर हो जाते हैं। [Go to: Reetha benefits]
कफ की बीमारी में 1 ग्राम रीठा चूर्ण तथा 2-3 ग्राम त्रिकटु चूर्ण को 50 मिली पानी में डालकर रखें। सुबह जल को साफकर अलग शीशी में भर लें। इस जल की 4-5 बूंद सुबह खाली पेट नियमित रूप से नाक में डालें। इससे अन्दर जमा हुआ कफ बाहर निकल जाता है, तथा सिर दर्द से तुरन्त लाभ मिलता है। [Go to: Reetha benefits]
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आप आंखों के रोग में भी रीठा से फायदा ले सकते हैं। आंखों की बीमारी जैसे- आंख के दर्द, या आंख से पानी बहने पर रीठा फल को जल में उबाल लें। इस जल से आंखों को धोएं। [Go to: Reetha benefits]
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दस्त रोकने के लिए रीठा की 4½ ग्राम गिरी को 100 मिली पानी में मथें। जब झाग निकलने लगे तो इस जल को हैजा और दस्त के रोगी को पिलाएं। इससे लाभ होता है। [Go to: Reetha benefits]
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वीर्य विकार का इलाज करने के लिए रीठा की गिरी को पीस लें। इस चूर्ण (reetha powder) में बराबर मात्रा में गुड़ मिला लें। इसे एक चम्मच की मात्रा में सुबह और शाम पिएं। आपको इसे एक कप दूध के साथ सेवन करना है। इससे लाभ होता है। [Go to: Reetha benefits]
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मासिक धर्म संबंधी परेशानी में रीठा फल की छाल या गिरि को महीन पीसकर शहद मिला लें। इसका पेस्ट बनाकर योनि के अंदर रखें। इससे मासिक धर्म संबंधी विकारों में लाभ होता है। बेहतर लाभ के लिए किसी आयुर्वेदिक चिकित्सक से जरूर परामर्श लें। [Go to: Reetha benefits]
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प्रसव को आसान बनाने में भी रीठा का प्रयोग फायदेमंद होता है। इसके लिए रीठा फल के झाग में रूई को भिगो लें। इसे योनि में रखने से प्रसव आसानी से हो जाता है। [Go to: Reetha benefits]
पेशाब करते समय दर्द होता हो तो 25 ग्राम रीठा को 1 लीटर पानी में रात भर के लिए भिगो दें। इस पानी को सुबह साफ कर लें। इसे थोड़ी-थोड़ी मात्रा में पिलाने से पेशाब संबंधी समस्याओं में लाभ मिलता है। [Go to: Reetha benefits]
रीठा फल से बीज निकालें, और फल के शेष भाग को तवे पर जला लें। इसमें बराबर मात्रा में कत्था मिलाकर अच्छी तरह से पीस लें। इस चूर्ण (soapnut powder) सुबह और शाम मक्खन या मलाई के साथ सेवन करें। इसे 7 दिनों तक सेवन करना है। इससे खूनी बवासीर में फायदा होता है। [Go to: Reetha benefits]
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मिर्गी की बीमारी में रीठा के बीज, गुठली और छिलके सहित रीठा को पीस लें। इसे मिरगी के रोगियों को रोज सूघाएं। इससे मिर्गी रोग में फायदा (Reetha ke fayde) होता है। [Go to: Reetha benefits]
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अफीम के नशे को उतारने के लिए भी रीठा का प्रयोग किया जाता है। इसके लिए रीठा को पानी में इतना उबालें कि पानी में भाप आने लगे। इस पानी को आधा कप की मात्रा में पिलाने से अफीम का नशा उतर जाता है। [Go to: Reetha benefits]
आप रीठा का उपयोग इन रूपों में कर सकते हैंः-
रीठा का औषधीय प्रयोग कर बेहतर परिणाम पाना चाहते हैं तो चिकित्सक से परामर्श लेना ना भूलें।
किसी भी चीज का अधिक उपयोग करने पर नुकसान होने की संभावना रहती है, उसी तरह रीठा के साथ भी है। इसलिए जो लोग गर्म प्रकृति के हैं उन्हें रीठा का अधिक प्रयोग नहीं करना चाहिए।
रीठा के वृक्ष सम्पूर्ण भारत में पाए जाते हैं।
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