मौसम बदलते ही कई कई लोग सर्दी-जुकाम, खांसी और बंद नाक की समस्या से परेशान हो जाते हैं. अगर आप कोई ऐसी आयुर्वेदिक दवा खोज रहे हैं जो इन सब छोटी-मोटी समस्याओं से जल्दी आराम दिला दे तो पतंजलि दिव्य धारा (Patanjali Divya Dhara) का उपयोग करें. आचार्य बालकृष्ण के अनुसार, पतंजलि दिव्य धारा सिरदर्द, पेट दर्द, पेट में गैस या अपच जैसी समस्याओं के इलाज में बहुत उपयोगी है. इस लेख में हम आपको पतंजलि दिव्य धारा के फायदे, नुकसान और सेवन के तरीकों के बारे में विस्तार से बता रहे हैं.
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पतंजलि दिव्य धारा, पतंजलि आयुर्वेद द्वारा निर्मित एक आयुर्वेदिक दवा है. यह दवा ड्रॉप्स के रूप में आती है और इसका इस्तेमाल सिरदर्द, पेट दर्द आदि के इलाज में किया जाता है.
पतंजलि दिव्य धारा के पैकेट पर दी गई जानकारी के अनुसार, इस दवा में निम्न चीजों का इस्तेमाल किया गया है.
पतंजलि दिव्य धारा कई समस्याओं के इलाज में प्रयोग की जाती है. सर्दी-जुकाम हो या हल्का सिरदर्द,यह दवा जल्दी असर करती है और राहत दिलाती है. आइए इसके अन्य फायदों के बारे में विस्तार से जानते हैं.
ज्यादा काम करने या देर तक मोबाइल-लैपटॉप का इस्तेमाल करने पर सिरदर्द होना आम बात है. अगर आपको अक्सर सिरदर्द की समस्या रहती है तो पतंजलि दिव्य धारा का प्रयोग करें. इसमें मौजूद कपूर और पेपरमिंट सिरदर्द से जल्दी राहत दिलाने में मदद करते हैं. सिरदर्द से राहत पाने के लिए पतंजलि दिव्य धारा की 3-4 बूँदें लें और इसे माथे पर लगाकर हल्के हाथों से मसाज करें. इसकी 2-3 बूँदें हथेली पर लेकर सूंघने से भी सिरदर्द से आराम मिलता है.
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आमतौर पर दांतों की ठीक से सफाई ना करने और रात को सोने से पहले ब्रश ना करने जैसी आदतों के कारण दांतों में दर्द होने लगता है. दांत का दर्द कभी-कभी इतना बढ़ जाता है कि लोगों के लिए इसे बर्दाश्त करना मुश्किल हो जाता है. ऐसे हालात में पतंजलि दिव्य धारा का उपयोग करें. इससे दांत दर्द से जल्दी आराम मिलता है.
सर्दी-जुकाम या किसी तरह की एलर्जी की वजह से अगर आपकी नाक बंद हो गई है या सांस लेने में तकलीफ हो रही है तो पतंजलि दिव्य धारा का उपयोग करें. इसके लिए आधे या एक लीटर गर्म पानी में 4-5 बूँदें दिव्य धारा की डालें और फिर उससे भाप लें. ऐसा करने से नाक खुल जाती है और आप आराम से सांस ले पाते हैं.
कान में दर्द की समस्या किसी तरह के संक्रमण या जुकाम की वजह से होती है. अगर आप कान दर्द से परेशान हैं तो पतंजलि दिव्य धारा का उपयोग करें. यह दवा कान के संक्रमण को ठीक करती है और कान के दर्द से राहत दिलाती है.
गर्मियों के दिनों में कई लोग नाक से खून बहने की समस्या से परेशान हो जाते हैं. इसे आम भाषा में नकसीर फूटना भी कहते हैं. अगर आप इस समस्या से परेशान हैं तो आयुर्वेदिक चिकित्सक से सलाह लेकर पतंजलि दिव्य धारा का उपयोग करें.
शरीर में कहीं भी हल्की-फुली चोट या खरोंच लग जाए तो आप वहां पर पतंजलि दिव्य धारा का इस्तेमाल कर सकते हैं. इसे लगाने से चोट में होने वाली जलन और दर्द से राहत मिलती है साथ ही यह घाव को जल्दी भरता है.
शादियों और त्योहारों के मौसम में अक्सर लोग ज्यादा खा लेने की वजह से अपच और पेट में गैस बनने की समस्या से परेशान हो जाते हैं. ऐसे में अगर आप पतंजलि दिव्य धारा का उपयोग करें तो अपच से छुटकारा पा सकते हैं. इसमें मौजूद अजवाइन पेट की गैस को दूर करती है और अपच से जल्दी राहत दिलाती है. अपच या गैस की समस्या होने पर गुनगुने पानी में दिव्य धारा की 3-4 बूँदें डालें और पी जाएं.
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सर्दियों का मौसम आते ही अस्थमा के मरीजों की मुश्किलें बढ़ने लगती है. अगर आप अस्थमा के लक्षणों से परेशान हैं तो आयुर्वेदिक चिकित्सक से सलाह लेने के बाद पतंजलि दिव्य धारा का प्रयोग करें. आचार्य बालकृष्ण के अनुसार, दिव्य धारा की 3-4 बूँदें हथेली पर रखकर सूंघने से अस्थमा के मरीजों को लाभ मिलता है. अगर आप अस्थमा के लक्षणों से जल्दी आराम पाना चाहते हैं तो कुछ बूँदें हाथों में लेकर सीने पर इससे मालिश करें.
जैसा कि ऊपर बताया जा चुका है यह दवा कई समस्याओं के इलाज में उपयोगी है. इसलिए हर समस्या के इलाज के लिए इसके सेवन का तरीका भी अलग है. आइए जानते हैं अलग-अलग समस्याओं में पतंजलि दिव्य धारा का उपयोग कैसे करें:
आमतौर पर इस दवा के सीमित उपयोग से कोई साइड इफेक्ट नहीं देखा गया है. अगर आप किसी गंभीर बीमारी के घरेलू इलाज के लिए दिव्य धारा का इस्तेमाल करना चाहते हैं तो पहले आयुर्वेदिक चिकित्सक से सलाह ज़रूर लें.
पतंजलि आयुर्वेद की आधिकारिक वेबसाइट के अनुसार, पतंजलि दिव्य धारा के 10 एमएल वाले पैक की कीमत 45 रुपए है. भविष्य में इस प्रोडक्ट की कीमत और पैक साइज़ में बदलाव हो सकता है. अगर आप घर बैठे इसे Tata 1Mg से ऑनलाइन मंगाना चाहते हैं तो यहाँ क्लिक करें.
पतंजलि दिव्य धारा का उपयोग बाह्य और आंतरिक दोनों तरीकों से कर सकते है. पतंजलि आयुर्वेद की आधिकारिक वेबसाइट के अनुसार खांसी होने पर दिव्य धारा की 2-3 बूँदें हथेली पर लेकर सूंघने से आराम मिलता है.
पतंजलि दिव्य धारा का उपयोग भाप के रूप में करने के लिए स्टीमर में पहले पानी डालें और पानी जब गर्म हो जाए तो उसमें 4-5 बूँद पतंजलि दिव्य धारा डालें और भाप लें.
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