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Cloves: कई बिमारियों की काट है लौंग – Acharya Balkrishan Ji (Patanjali)

अधिकांश लोग लौंग  से जरूर परिचित होंगे। अनेक मौकों पर लौंग का सेवन भी करते होंगे। लोगों को यह तो पता है कि लौंग के सेवन से फायदे होते हैं या लौंग का उपयोग करना लाभदायक होता है लेकिन सच यह है कि बहुत सारे लोगों को लौंग के प्रयोग से होने वाले अनेक लाभों (Long Ke Fayde) के बारे में जानकारी ही नहीं होती। इस कारण लोग लौंग को केवल कुछ ही चीजों में प्रयोग करते हैं।

long ke fayde

आयुर्वेदिक ग्रंथों में लौंग के इस्तेमाल से जुड़े कई उपाय बताए गए हैं। लौंग के सेवन से भूख बढ़ती है, उल्टी रुकती है, पेट की गैस, अत्यधित प्यास लगने की समस्या और कफ-पित्त दोष ठीक होते हैं। इसके साथ ही आप रक्त विकार, सांसों की बीमारी, हिचकी और टीबी रोग में भी लौंग का उपयोग कर लाभ पा सकते हैं। विशेषज्ञों के अनुसार पुरुषों के लिए लौंग लाभदायक मानी जाती है। आइए लौंग के फायदे के बारे में विस्तार से जानते हैं।

Contents

लौंग क्या है? (What is Cloves?)

लौंग (lavang) के वृक्ष पर लगभग 9 वर्ष की आयु में फूल लगने शुरू हो जाते हैं। इसकी फूल कलियों को ही सुखाकर बाजार में लौंग के नाम से बेचते हैं। गर्भवती महिलाओं को होने वाली उल्टी में लौंग बहुत लाभदायक होती है। लौंग के फायदे या कुछ विशेष गुण इस प्रकार हैंः-

  • लौंग के सेवन से भूख बढ़ती है। आमाशय की रस क्रिया सही रहती है।
  • भोजन के प्रति रुचि पैदा होती है और मन प्रसन्न होता है।
  • लौंग पेट के कीड़ों को खत्म करती है।
  • यह चेतना-शक्ति को सही रखती है।
  • यह शरीर की दुर्गन्ध को खत्म करती है।
  • दर्द, घाव पर लेप करने से रोग सही होते हैं।
  • लौंग मूत्र मार्ग को सही रखती है और पेशाब के रास्ते हानिकारक चीजों को बाहर निकालने में मदद करती है।

 

अनेक भाषाओं में लौंग के नाम (Name of Cloves in Different Languages)

लौंग का वानस्पतिक नाम Syzygium aromaticum  (Linn.) Merr & L. M. Perry (सिजीयम एरोमैटिकम) Syn-Eugenia caryophyllata Thunb., Caryophyllus aromaticus Linn. है और यह Myrtaceae (मिर्टेसी) कुल की है। लौंग को देश या विदेश में अनेक नामों से जाना जाता है, जो ये हैंः-

Cloves in –

  • Hindi (laung in hindi)लोंग, लौंग, लवंग
  • English (Lavanga in english) क्लोवस (Cloves), जंजिबर रैड हेड (Zanzibar red head), क्लोव ट्री (Clove tree), Clove (क्लोव)
  • Sanskrit – लवङ्ग, देवकुसुम, श्रीप्रसून, श्रीसंज्ञ, श्रीप्रसूनक, वारिज
  • Urdu – लौंग (Laung), लवंग (Lavang)
  • Kannada – लवंग (Lavanga), रूंग (Rung)
  • Gujarati – लवींग (Laving)
  • Telugu – करवप्पु (Karvappu), लवंगमु (Lavangamu)
  • Tamil (Cloves in tamil) : किरांबु (Kirambu), किराम्पु (Kirampu)
  • Bengali – लवंग (Lavang)
  • Nepali – लवांग (Lwang) 
  • Marathi – लवंग (Lavang)
  • Malayalam – लौंग (Laung), ग्रामपु (Grampu), करयाम्पु (Karayampu)
  • Arabic – करनफल (Qaranphal), करनफूल (Qaranphul)
  • Persian – मेखत (Mekhat), मेखक (Mekhak)

 

लौंग के फायदे और उपयोग (Cloves Benefits and Uses in Hindi)

लौग के औषधीय प्रयोग एवं प्रयोग की मात्रा एवं विधियां ये हैंः-

 

सिर दर्द और माइग्रेन में लौंग का प्रयोग लाभदायक (Cloves Benefits in Relief from Headache in Hindi)

आप लौंग के फायदे (Long ke fayde) सिर दर्द की परेशानी में ले सकते हैं। अगर कोई रोगी आधासीसी से पीड़ित है या फिर अन्य प्रकार के सिर दर्द की समस्या से परेशान है तो लौंग का प्रयोग लाभ दिलाता है। इसके लिए 6 ग्राम लौंग को पानी में पीसकर सुखा लें। इसे थोड़ा गर्म कर लें। इसका कान के आस-पास गाढ़ा लेप करने से सिर दर्द या आधासीसी की समस्या में लाभ होता है।

2 लौंग और 65 मिग्रा अफीम को पानी के साथ पीसकर गर्म कर लें। इसको ललाट पर लेप करने से सर्दी के कारण होने वाले सिर दर्द से आराम मिलता है।

 

आंखों की बीमारियों में लौंग का उपयोग फायदेमंद (Benefits of Cloves in Cure Eye Disease in Hindi)

लौंग को तांबे के बरतन में पीस लें। इसे शहद मिलाकर आंखों में लगाने से आंखों के रोगों में लाभ मिलता है।

 

दांतों के रोग में लौंग के प्रयोग से लाभ (Benefits of Long in Dental Disease in Hindi)

दांतों की बीमारियों में भी लौंग काफी फायदेमंद  (Long ke Fayde)  है। लौंग के तेल को रूई के फाहे में लगाकर दांतों में लगाएं। इससे दांतों के दर्द से आराम मिलता है। इससे दांत में लगे कीड़े भी खत्म हो जाते हैं।

 

बलगम की समस्या में लौंग का सेवन लाभदायक (Cloves Benefits in Mucus Problem in Hindi)

लौंग के 2 ग्राम कूटे हुए चूर्ण को 125 मिली पानी में उबालें। जब यह एक चौथाई रह जाए तो छानकर थोड़ा गर्म कर पी लें। यह कफ को बाहर निकालने में मदद करता है।

 

लौंग के सेवन से खत्म होती है मुंह और सांसों की बदबू (Benefits of Cloves in Halitosis Treatment in Hindi)

लौंग को मुंह में रखने से मुंह और सांस की दुर्गन्ध मिटती है।

Bad mouth breath

दमा रोग में फायदेमंद लौंग का सेवन (Benefits of Long in Fighting with Asthma in Hindi)

दमा रोग में भी लौंग के फायदे मिलते हैं। लौंग, आंकडे के फूल और काला नमक को बराबर मात्रा में लें। इन्हें पीसकर चने के आकार की गोली बना लें। इसे मुंह में रखकर चूसने से दमा और श्वासनलिका के विकार ठीक होते हैं।

 

लौंग के सेवन से कुक्कुर खांसी का इलाज (Laung Benefits in Cure Cough Disease in Hindi)

3-4 नग लौंग को आग पर भूनकर पीस लें। इसे शहद मिलाकर चाटने से कुक्कुर खांसी में लाभ (laung ke fayde) होता है।

 

हैजा में फायदेमंद लौंग का इस्तेमाल (Clove Benefits in Cholera Treatment in Hindi)

हैजा होने पर बहतु अधिक प्यास लगने की समस्या भी हो जाती है। इस समस्या में लौंग खाने से बहुत फायदा (Long khane ke fayde) मिलता है। एक या ड़ेढ़ ग्राम लौंग को करीब डेढ़ ली जल में डालकर उबालें। 2-3 उबाल आने पर नीचे उतार कर ढक दें। इसमें से 20-25 मिली जल को बार-बार पिलाने से हैजा के कारण लगने वाली अत्यधिक प्यास की समस्या ठीक होती है।

और पढ़े: हैजा में ताड़ के पेड़ के फायदे

 

अपज की समस्या में लौंग के उपयोग से लाभ (Cloves Benefits in Indigestion in Hindi)

 1 ग्राम लौंग और 3 ग्राम हरड़ को मिलाकर काढ़ा बना लें। इसमें थोड़ा-सा सेंधा नमक डालकर पिलाने से अपच की समस्या ठीक  होती है।

 

जी मिचलाने पर करें लौंग का प्रयोग (Benefits of Cloves in Treating Nausea in Hindi)

जी मिचला रहा हो तो आप लौंग के फायदे लें। लौंग को पानी के साथ पीसकर थोड़ा गर्म कर लें। इसे थोड़ा-थोड़ा पिलाने से जी मिचलाने और अत्यधित प्यास लगने की समस्या ठीक होती है।

 

बुखार में लौंग का सेवन लाभदायक (Benefits of Long in Fighting with Fever in Hindi)

लौंग (lavang) और छोटी पिप्पली को बराबर मात्रा में लेकर पीस लें। इस चूर्ण को 1½ ग्राम की मात्रा में लेकर मधु मिलाकर सुबह और शाम चाटने से बुखार और बुखार के कारण होने वाली शारीरिक कमजोरी में लाभ होता है।

लौंग तथा चिरायता को समान भाग लें। इसे पानी में पीसकर पिलाने से बुखार में लाभ होता है।’

 

पेट की गैस की समस्या में लौंग से फायदा (Laung Benefits in Acidity in Hindi)

10 ग्राम लौंग, 10 ग्राम सोंठ, अजवायन और 10 ग्राम सेंधा नमक तथा 40 ग्राम गुड़ को पीस लें। इसकी 325-325 मिग्रा की गोलियाँ बना लें। 1 गोली को दिन में 2-3 बार सेवन करने से पेट की गैस की समस्या ठीक होती है।

और पढ़ें : गैस दूर करने के घरेलू उपाय

 

पेट के रोग में लौंग के सेवन से फायदा (Cloves Benefits in Treating Abdominal Disease in Hindi)

  • लौंग (lavang), शुंठी, मिर्च, पीपल, अजवायन 10-10 ग्राम, सेंधा नमक 50 ग्राम तथा मिश्री 50 ग्राम को महीन पीस लें। इन्हें चीनी मिट्टी के बरतन में रखें और इतना नींबू का रस डालें कि पूरा चूर्ण नींबू के रस से डूब जाए। इसे धूप में सुखा लें। इसे एक चम्मच भोजन के बाद सेवन करने से मुंह का स्वाद अच्छा हो जाता है। इससे बदहजमी व खट्टी डकार आने की समस्या  (long ke fayde) ठीक हो जाती है।
  • 1-2 ग्राम लौंग को कूट लें। इसे 100 मिली जल में मिलाकर काढ़ा बना लें। जब काढ़ा 20-25 मिली रह जाए तो इसे छानकर ठंडाकर पिएं। इससे हैजा और अपच की समस्या में लाभ होता है।
  • लौंग (lavang) का काढ़ा या लौंग के तेल से गैस की समस्या तुरंत ठीक हो जाती है।
  • जायफल, लौंग तथा जीरा को समान मात्रा में लें। इनका चूर्ण बना लें। इसे 2-3 ग्राम की मात्रा में लेकर शहद और शक्कर के साथ सेवन करें। इससे पेट का दर्द ठीक होता है। 
  • लौंग के दरदरे 10 ग्राम चूर्ण को 1 लीटर उबलते हुए जल में डालकर ढक दें। आधे घंटे बाद छान लें। 25-50 मिली जल को दिन में 3 बार पिलाने से अपच की समस्या ठीक होती है और भूख लगती है।
  • लौंग, सोंठ, 10-10 ग्राम तथा अजवायन व सेंधा नमक 12-12 ग्राम का चूर्ण बना लें। इसे 1 ग्राम की मात्रा में भोजन के बाद जल के साथ सेवन करें। इससे अपच और एसीडिटी की समस्या  ठीक होती है।

 

उल्टी (गर्भवती महिलाओं को होने वाली उल्टी) को रोकने के लिए लौंग का उपयोग (Use of cloves to Prevent Vomiting (Vomiting of Pregnant Women) in Hindi)

गर्भवती महिलाओं को उल्टी होना आम बात है। खास बात यह है कि इस दौरान लौंग खाने से उल्टी रोकने में बहुत फायदा (Long khane ke fayde) मिलता है। इससे गर्भवती महिलाओं को बहुत आराम मिलता है। 1 ग्राम लवंग (लौंग) चूर्ण को मिश्री की चाशनी और अनार के रस में मिलाकर चाटें। इससे गर्भवती महिलाओं को होने वाली उल्टी बंद  हो जाती है।

लौंग का काढ़ा पिलाने से गर्भवती स्त्री की उल्टी बन्द हो जाती है। ध्यान रखें कि बुखार में यह काढ़ा ना दें।

 

सेक्सुअल स्टेमना बढ़ाती है लौंग (Benefits of Long in Increasing Sexual Stamina in Hindi)

लौंग (lavang) व जायफल को घिसकर नाभि पर लेप करने से पुरुष की स्तम्भन शक्ति (संभोग करने की क्षमता) बढ़ जाती है।

 

गठिया में फायदेमंद लौंग (Laung Benefits in Arthritis Treatment in Hindi)

लौंग के फायदे आप गठिया जैसी बीमारी में भी ले सकते हैं। लौंग के तेल से गठिया में लाभ होता है। इसे गठिया वाले स्थान पर लगाएं। इससे लाभ मिलता है।

लवंग की त्वचा को उष्णोदक के साथ पीसकर लेप करने से वात दोष के कारण होने वाले दर्द में लाभ  मिलता है।

Gout

नासूर (पुराना घाव) में लौंग से लाभ (Clove Benefits in Cure Canker in Hindi)

5-6 लौंग और 10 ग्राम हल्दी को पीसकर लगाने से नासूर (पुराना घाव) ठीक हो जाता है।

 

छाती की जलन को ठीक करती है लौंग (Laung Benefits to Treat Heartburn in Hindi)

अनेक लोग छाती में जलन की समस्या से पीड़ित रहते हैं। इसमें भी लौंग के फायदे (Long khane ke fayde) ले सकते हैं। 2-4 नग लौंग (lavang) को शीतल जल में पीस लें। इसमें मिश्री मिलाकर पीने से हृदय की जलन मिटती है।

 

दस्त रोकने के लिए करें लौंग का उपयोग (Clove Benefits to Stop Diarrhea in Hindi)

1 ग्राम लौंग और 3 ग्राम हरड़ को मिलाकर काढ़ा बना लें। इसमें थोड़ा-सा सेंधा नमक डालकर पिलाने से दस्त पर रोक (laung benefits) लगती है।

जायफल, लौंग तथा जीरा को समान मात्रा में लें। इनका चूर्ण बना लें। इसे 2-3 ग्राम की मात्रा में लेकर शहद और शक्कर के साथ सेवन करें। इससे दस्त ठीक होता है।

 

मधुमेह में लौंग के फायदे (Clove Beneficial to Control Diabetes in Hindi)

लौंग का सेवन मधुमेह में आपको फायदा दे सकता है क्योंकि यह रक्त में शर्करा को नियंत्रित करने में मदद करता है। 

 

सूजन को कम करने में लौंग फायदेमंद (Clove Beneficial to Get Relief from Inflammation in Hindi)

लौंग का तेल सूजन कम करने में मदद करता है क्योंकि इसमें एंटी- इंफ्लेमेटरी का गुण पाया जाता है जो कि सूजन को कम करने में मदद करता है। 

 

पाचन तंत्र को मजबूत बनाये लौंग (Benefit of Clove to Improve Digestive System in Hindi)

अगर आप का पाचन तंत्र कमजोर है तो आप के लिए लौंग का सेवन फायदेमंद हो सकता है, क्योंकि आयुर्वेद के अनुसार लौंग में दीपन और पाचन के गुण पाये जाते है। 

 

कैंसर के इलाज में फ़ायदेमंद है लौंग (Clove Beneficial to Treat Cancer in Hindi)

cancer

लौंग का उपयोग कैंसर के लक्षणों को कम करने में फ़ायदेमंद होता है, क्योंकि इसमें कैंसर रोधी गुण होता है। 

 

तनाव को कम करें लौंग (Clove Beneficial to Get Relief from Stress in Hindi)

लौंग का तेल तनाव को कम करने में मदद करता है क्योंकि ये सर्कुलेटरी सिस्टम को उत्तेजित कर शारीरिक थकान को कम कर तनाव से मुक्ति देता है। 

 

सिरदर्द से राहत दिलाने में फायदेमंद लौंग (Benefit of Clove to Treat Headache in Hindi)

यदि आप सिर दर्द से परेशान है तो लौंग का तेल सिर दर्द को कम करने में मदद करता है। 

 

अस्थमा के इलाज में लौंग के फायदे (Clove Beneficial to Treat Asthma in Hindi)

अस्थमा या कफ संबंधी समस्या में फ़ायदे के लिए लौंग का सेवन कर कर सकते है क्योंकि आयुर्वेद के अनुसार लौंग में कफ से राहत दिलाने का गुण होता है।  

 

जी-मिचलाना कम करने में लौंग के फायदे (Clove Beneficial in Nausea in Hindi)

अगर आपको यात्रा के दौरान व किसी अन्य कारण से जी – मिचलाने या उल्टी होने की समस्या है तो आप लौंग का प्रयोग कर सकते है क्योंकि इसमें एंटी एमेटिक का गुण पाया जाता है।

 

जोड़ों का दर्द कम करने  फायदेमंद लौंग (Benefit of Clove to Get Relief from Arthritis in Hindi)

जोड़ों किए दर्द की समस्या में भी लौंग फ़ायदेमंद होता है क्योंकि आयुर्वेद में लौंग को दर्दनिवारक माना जाता है जिसके कारण लौंग का तेल जोड़ों के दर्द के लिए फ़ायदेमंद होता है। 

 

लौंग के उपयोगी भाग (Beneficial Part of Cloves)

फूल कालिका

Clove Plant

 

लौंग के प्रयोग की मात्रा (How Much to Consume Cloves?)

चूर्ण – 1-2 ग्राम

लौंग के तेल – 1-3 बूँद

अधिक लाभ के लिए लौंग का इस्तेमाल चिकित्सक के परामर्शानुसार करें।

 

लौंग कहां पाया या उगाया जाता है? (Where is Cloves Found or Grown?)

लौंग (lavang) के पैदा होने का स्थान मलक्का द्वीप है, लेकिन भारत के दक्षिण में केरल और तमिलनाडू में इसकी खेती की जाती है। भारतवर्ष में लौंग का अधिकांश आयात सिंगापुर से किया जाता है।

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